मध्य प्रदेश सहायक प्रोफेसर हिंदी परीक्षा का प्रश्न पत्र
मध्य प्रदेश आयोग द्वारा आयोजित सहायक प्रोफेसर (हिंदी) परीक्षा 2022 का प्रश्न पत्र यहाँ प्रस्तुत किया गया है। इस परीक्षा का आयोजन 3 मार्च, 2024 को किया गया था। हिंदी साहित्य से संबंधित इस परीक्षा में कुल 150 प्रश्न पूछे गए थे, जिनमें भाषा, साहित्य, व्याकरण और काव्य शास्त्र से जुड़े विभिन्न महत्वपूर्ण विषयों को शामिल किया गया था।
MP Assistant Professor Hindi के सभी प्रश्न Quiz के रूप में दिया गया है इसलिए आप अपनी तैयारी की जाँच भी कर पाएंगे। official answer key के साथ व्याख्यात्मक हल भी दिया जा रहा है। इससे आपको सही उत्तर का चयन करने में मदद मिलेगी और परीक्षा के पैटर्न को समझने का अवसर मिलेगा।
MP Assistant Professor Question Paper 2022
1. ‘पृथ्वीराज रासो’ को हिंदी का पहला महाकाव्य मानने वाले विद्वान कौन हैं?
आचार्य हजारी प्रसाद
मिश्रबन्धु
श्यामसुन्दर दास
आ. रामचंद्र शुक्ल
‘पृथ्वीराज रासो’ को हिंदी का पहला महाकाव्य मानने वाले विद्वान ‘आ. रामचंद्र शुक्ल’ हैं।
2. ‘रम्भा मंजरी’ नाटिका किस जैन कवि की रचना है?
शालिभद्र सूरि
जिनदत्त सूरि
नयचंद्र सूरि
‘रम्भा मंजरी’ नाटिका जैन कवि ‘नयचंद्र सूरि’ की रचना है।
श्री. अभयदेव सूरि
3. अमीर खुसरो के लिए उपर्युक्त कथन किस विद्वान का है?
“इन्होंने खड़ी बोली को प्रथम बार कविता में स्थान दिया। यही कारण है कि ये खड़ी बोली के आदि कवि कहे जाते हैं।”
डॉ. नगेन्द्र
आ. रामचंद्र शुक्ल
डॉ. रामकुमार वर्मा
अमीर खुसरो के लिए उपर्युक्त कथन ‘डॉ. रामकुमार वर्मा’ का है।
डॉ. नामवर सिंह
4. हिंदी में नख-शिख वर्णन परम्परा का आरम्भ किस कृति से माना जाता है?
राउर बेल
हिंदी में नख-शिख वर्णन परम्परा का आरम्भ ‘राउर बेल’ (रोडा कवि) कृति से माना जाता है।
दोला मारु-रा दोहा
बसन्त विलास
सन्देश रासक
5. यह विचार किसका है?
“सिद्धों और योगियों की रचनाओं का जीवन की स्वाभाविक अनुभूतियों और दशाओं से कोई संबंध नहीं है।”
श्यामसुन्दर दास
हजारी प्रसाद द्विवेदी
रामकुमार वर्मा
रामचंद्र शुक्ल
यह विचार रामचंद्र शुक्ल का है।
6. ‘रामचरितमानस’ में यह कथन किसने कहा था?
“सरनागत कहूँ जे तजहिं निज अनहित अनुमानि।
ते नर पाँवर पापमय तिन्हहि बिलोकत हानि॥”
राम
‘रामचरितमानस’ में यह कथन ‘राम’ ने कहा था।
सुग्रीव
लक्ष्मण
सीता
7. ‘रामचरितमानस’ के ‘अरण्यकांड’ में नवधा भक्ति पर उपदेश करते हुए पहली भक्ति बताई है-
कथा प्रसंग में प्रेम
मंत्र जाप
गुरु सेवा
संतों का सत्संग
‘रामचरितमानस’ के ‘अरण्यकांड’ में नवधा भक्ति पर उपदेश करते हुए ‘संतों का सत्संग’ को पहली भक्ति बताई गई है।
8. सूरदास के इस पद में प्रयुक्त ‘खुभी’ शब्द का अर्थ है-
“अटपटि बात तिहारी ऊधो सुनै सो ऐसी को है?/ हम अहीरि अबला सठ, मधुकर! तिन्हैं जोग कैसे सौहै?/ बूचिहि खुभी आँधरी काजर नकटी पहिरे बेसरि।”
मिट्टी का बरतन
चित्त की वृत्ति
कान में पहनने का आभूषण
सूरदास के इस पद में प्रयुक्त ‘खुभी’ शब्द का अर्थ है- कान में पहनने का आभूषण। (वहीं ‘बेसरि’ नाक में पहने जाने वाला आभूषण है।)
10. “जैसे सोनहा काँच मंदिर मैं।” पंक्ति में कबीर द्वारा प्रयुक्त ‘सोनहा’ शब्द का अर्थ है-
तोता
मन
खरगोश
कुत्ता
उपरोक्त पंक्ति में कबीर द्वारा प्रयुक्त ‘सोनहा’ शब्द का अर्थ ‘कुत्ता’ है।
11. यह कथन किस आलोचक का है?
‘भारतेन्दु युगीन साहित्य केवल राजनीतिक स्वाधीनता का साहित्य न होकर मनुष्य की एकता, समानता और भाईचारे का भी साहित्य है।’
आचार्य रामचंद्र शुक्ल
आचार्य हजारी प्रसाद द्विवेदी
डॉ. राम विलास शर्मा
यह कथन ‘डॉ. राम विलास शर्मा’ का है।
डॉ. नामवर सिंह
12. आचार्य रामचंद्र शुक्ल के अनुसार भारतेन्दु युगीन काव्यधार में भारतेन्दु की वाजी का सबसे ऊँचा स्वर क्या था?
देशभक्ति
रामचंद्र शुक्ल के अनुसार भारतेन्दु युगीन काव्यधार में भारतेन्दु की वाजी का सबसे ऊँचा स्वर ‘देशभक्ति’ था।
लोकहित
समाज सुधार
मातृभाषा
13. ‘जीर्ण जनपद’ खण्डकाव्य का रचयिता कौन है?
प्रताप नारायण मिश्र
बालकृष्ण भट्ट
ठाकुर जगमोहन सिंह
बदरीनारायण चौधरी ‘प्रेमधन’
‘जीर्ण जनपद’ खण्डकाव्य का रचयिता ‘बदरीनारायण चौधरी ‘प्रेमधन’’ है।
14. विधवाओं की समस्या पर केन्द्रित ‘गर्भरंडा रहस्य’ प्रबंधकाव्य किसने लिखा?
रामचरित उपाध्याय
गिरिधर शर्मा नवरत्न
नाथू राम शंकर शर्मा
विधवाओं की समस्या पर केन्द्रित ‘गर्भरंडा रहस्य’ प्रबंधकाव्य ‘नाथू राम शंकर शर्मा’ ने लिखा है।
रूपनारायण पाण्डेय
15. निम्नलिखित में से कौन-सी काव्य कृति रामनरेश त्रिपाठी द्वारा रचित नहीं है?
मिलन
पथिक
पद्य प्रसून
‘पद्य प्रसून’ अयोध्या सिंह उपाध्याय हरिऔध की रचना है।
स्वप्न
16. उक्त पंक्ति किस कहानी से उद्धृत है?
“मरे हुए मुहूर्तों की गूंगी आवाजें मुखर होना चाहती हैं।”
टोकरी भर मिट्टी
नशा
परिन्दे
तीसरी कसम
उक्त पंक्ति फणीश्वरनाथ रेणु की कहानी ‘तीसरी कसम’ से उद्धृत है।
17. प्रेमचंद की ‘नशा’ कहानी मानसरोवर के किस भाग में संकलित है?
1
प्रेमचंद की ‘नशा’ कहानी मानसरोवर के भाग एक में संकलित है।
4
2
5
18. चार खण्डों में प्रकाशित हरिवंशराय बच्चन की आत्मकथा का प्रकाशन की दृष्टि से सही क्रम कौन-सा है?
क्या भूलूँ क्या याद करूँ, नीड़ का निर्माण फिर, बसेरे से दूर, दशद्वार से सोपान तक
क्या भूलूँ क्या याद करूँ (1969), नीड़ का निर्माण फिर (1970), बसेरे से दूर (1977), दशद्वार से सोपान तक (1985)
क्या भूलूँ क्या याद करूँ, बसेरे से दूर, नीड़ का निर्माण फिर, दशद्वार से सोपान तक
बसेरे से दूर, नीड़ का निर्माण फिर, क्या भूलूँ क्या याद करूँ, दशद्वार से सोपान तक
दशद्वार से सोपान तक, क्या भूलूँ क्या याद करूँ, नीड़ का निर्माण फिर, बसेरे से दूर
19. उपर्युक्त कथन किस आलोचक का है?
‘अध्याम शब्द की मेरी समझ में काव्य या कला के क्षेत्र में कोई कहीं जरुरत नहीं।’
रामचंद्र शुक्ल
उपर्युक्त कथन रामचंद्र शुक्ल का है।
हजारी प्रसाद दिवेदी
रामबिलास शर्मा
नंद दुलारे वाजपेयी
20. किस आलोचक ने स्वयं के बारे में कहा, “मेरा आगमन हिंदी के छायावादी कवि प्रसाद, निराला और पंत की कविता के विवेचक के रूप में हुआ था”?
नगेन्द्र
रामविलास शर्मा
नंद दुलारे वाजपेयी
नंद दुलारे वाजपेयी ने स्वयं के बारे में यह कथन कहा है।
नामवर सिंह
21. महाकवि निराला की कविताओं में ‘बादल’ किसका प्रतीक बनकर आया है?
नूतन भावोल्लास
ध्वंस-सृजन और क्रांति
महाकवि निराला की कविताओं में ‘बादल’ ध्वंस-सृजन और क्रांति का प्रतीक बनकर आया है।
नवीन चेतना
उत्सर्ग का भाव
22. किस रीति में सुकुमारता और मधुरता का अभाव रहता है?
बैदर्भी
पांचाली
गौडीया
गौडीया रीति में सुकुमारता और मधुरता का अभाव रहता है।
इनमें से कोई नहीं
23. किस आचार्य ने समाधि (एकाग्रता) और अभ्यास से उत्पन्न ‘शक्ति’ को काव्य-हेतु माना है?
भामह
रुद्रक
पंडितराज जगन्नाथ
राजशेखर
आचार्य राजशेखर ने समाधि (एकाग्रता) और अभ्यास से उत्पन्न ‘शक्ति’ को काव्य-हेतु माना है।
24. ‘काव्यं सद् दृष्टादृष्टार्थ प्रीतिकीर्ति हेतुत्वात्।’ काव्य प्रयोजन के संदर्भ में किसका कथन है?
भामह
मम्मट
वामन
काव्य प्रयोजन के संदर्भ में यह कथन आचार्य वामन का है।
विश्वनाथ
25. प्रस्तुत उदाहरण किस अलंकार का है?
“यों रहीम जस होत है, उपकारी के संग।
बाँटन वारे को लगय ज्यौ मेहंदी को रंग॥”
दृष्टांत
उदाहरण
प्रस्तुत पंक्ति ‘उदाहरण अलंकार’ का उदाहरण है।
निदर्शना
असंगति
26. मध्यप्रदेश साहित्य अकादमी की स्थापना कब हुई?
1953 ई.
1954 ई.
मध्यप्रदेश साहित्य अकादमी की स्थापना 1954 ई. को हुई थी।
1955 ई.
1956 ई.
27. भवानी प्रसाद मिश्र किस पत्रिका के संपादक रहे हैं?
माधुरी
वागर्थ
कल्पना
भवानी प्रसाद मिश्र ‘कल्पना’ पत्रिका के संपादक रहे हैं।
युगबोध
28. जीवन पर अब दिन-रात कड़ा पहरा है, शासन है, या तम का प्रभाव गहरा है? यह पंक्तियाँ किस कविता से उद्धृत हैं?
वीरों का कैसा हो बसंत
विप्लव गान
बलि पंथी के लिए
कैदी और कोकिल
यह पंक्तियाँ माखनलाल चतुर्वेदी की ‘कैदी और कोकिल’ कविता से उद्धृत हैं।
29. माखनलाल चतुर्वेदी ने इनमें से कौन-सी पत्रिका का संपादन कार्य नहीं किया?
प्रभा
प्रताप
प्रतीक
माखनलाल चतुर्वेदी ने प्रतीक पत्रिका का संपादन कार्य नहीं किया है।
कर्मवीर
30. भवानी प्रसाद मिश्र किस ‘सप्तक’ के कवि हैं?
पहला सप्तक
दूसरा सप्तक
भवानी प्रसाद मिश्र ‘दूसरा सप्तक’ के कवि हैं।
तीसरा सप्तक
चौथा सप्तक
31. बुंदेली की स्वतंत्र काव्य-परम्परा की वृहत् त्रयी किसे कहते हैं?
ख्यालीराम, ईसुरी, गंगाधर व्यास
बुंदेली की स्वतंत्र काव्य-परम्परा की वृहत् त्रयी ‘ख्यालीराम, ईसुरी, गंगाधर व्यास’ को कहते हैं।
ईसुरी, बैजू, मूलचंद
माधव शुक्ल, मुन्नीलाल, हरीश निगम
संतोष सिंह बुंदेला, सैफू, चंद्रसखी
32. भगवती प्रसाद शुक्ल ने ‘बघेली जनपद का प्रतिनिधि कवि’ किसे कहा है?
जगदीन
बैजनाथ पाण्डेय ‘बैजू’
भगवती प्रसाद शुक्ल ने ‘बघेली जनपद का प्रतिनिधि कवि’ बैजनाथ पाण्डेय ‘बैजू’ को कहा है।
रामचंद्र सोनी
भगवती प्रसाद
33. ‘रमा जहँ रकरा बाँधा’ इस बघेली लोक कहावत में ‘रकरा’ का अर्थ है-
गाय का छोटा बच्चा
इस बघेली लोक कहावत में ‘रकरा’ का अर्थ है- गाय का छोटा बच्चा।
भैंस का छोटा बच्चा
बंदरिया का छोटा बच्चा
बकरी का छोटा बच्चा
34. लोककला एवं बोली विकास अकादमी, मध्य प्रदेश संस्कृति परिषद, भोपाल द्वारा लोक-संस्कृति पर केन्द्रित प्रकाशित की जाने वाली पत्रिका है-
रंगायन
मामुलिया
चौमासा
लोककला एवं बोली विकास अकादमी, भोपाल द्वारा लोक-संस्कृति पर केन्द्रित प्रकाशित की जाने वाली पत्रिका का नाम चौमासा है।
अक्षरा
35. लोक एवं जनजातीय कलाओं को समर्पित ‘आदिवर्त जनजातीय एवं लोककला राज्य संग्रहालय’ कहाँ पर स्थित है?
भोपाल
छिंदवाड़ा
झाबुआ
खजुराहो
आदिवासी संस्कृति को संरक्षित करने तथा आदिवासी लोक कला के विकास, संरक्षण और संवर्धन के लिए मध्य प्रदेश सरकार के संस्कृति विभाग द्वारा 2001 में खजुराहो में आदिवर्त जनजातीय एवं लोक कला संग्रहालय की स्थापना की गई थी।
36. निम्नलिखित में से निवढी बोली में किसकी प्रधानता है?
छत्तीसगढ़ी
बुंदेली
निवढी बोली में बुंदेली की प्रधानता है।
बिहारी
कन्नौजी
37. खड़ी बोली में लिखित रचना ‘प्रेमसागर’ के लेखक हैं-
लल्लूलाल
खड़ी बोली में लिखित रचना ‘प्रेमसागर’ के लेखक ‘लल्लूलाल’ हैं।
सदल मिश्र
सदासुखलाल
राजा लक्ष्मण सिंह
38. निम्नलिखित में से नारी चेतना विषयक भारत की पहली पत्रिका होने का श्रेय किस पत्रिका को है?
इन्दु
माधुरी
बाला बोधिनी
नारी चेतना विषयक भारत की पहली पत्रिका होने का श्रेय ‘बाला बोधिनी’ पत्रिका को है।
हंस मासिक
39. निम्न में से हिंदी और उर्दू के संघर्ष में शुद्ध भारतीय संस्कारवती हिंदी को ही हिंदी का वास्तविक रूप किसने माना?
राजा शिवप्रसाद
राजा लक्ष्मण सिंह
राजा लक्ष्मण सिंह ने हिंदी और उर्दू के संघर्ष में शुद्ध भारतीय संस्कारवती हिंदी को ही हिंदी का वास्तविक रूप माना।
विनोबा भावे
केशवदास
40. निम्न में से हिंदी साहित्य सम्मेलन के प्रथम अधिवेशन के अध्यक्ष कौन थे?
राजर्षि पुरुषोत्तमदास टंडन
डॉ. राजेन्द्र प्रसाद
पं. मदनमोहन मालवीय
हिंदी साहित्य सम्मेलन के प्रथम अधिवेशन के अध्यक्ष पं. मदनमोहन मालवीय थे।
काका कालेलकर
41. कबीर के ‘बीजक’ की टीका महाराज विश्वनाथ सिंह जू देव ने किस नाम से की?
बीजक वाणी
त्रिज्या टीका
पाखंडखंडनी
कबीर के ‘बीजक’ की टीका महाराज विश्वनाथ सिंह जू देव ने ‘पाखंडखंडनी’ नाम से की।
सधुक्कड़ी संग्रह
42. रचनाओं को उनके रचनाकारों के साथ सुमेलित कीजिए।
चित्रावली- उस्मान, रूपमंजरी- नंददास, रसरतन- पुहकर, छिताईवार्ता- नारायण दास।
(iv), (ii), (i), (iii)
(ii), (iii), (i), (iv)
(ii), (iv), (i), (iii)
43. आचार्य रामचंद्र शुक्ल ने यह किस रचनाकार के लिए कहा?
“इनकी भाषा बहुत चलती सरल और शब्दाडंबर मुक्त होती थी। शुद्ध ब्रजभाषा का जो चलतापन और सफाई इनकी और घनानंद की रचनाओं में है वह अन्यत्र दुर्लभ है।”
मलिक मोहम्मद जायसी
रसखान
आचार्य रामचंद्र शुक्ल ने यह कथन रसखान के लिए कहा है।
सूरदास
नंददास
44. निम्नलिखित में से कौन-सा कथन सही नहीं है?
आचार्य रामचंद्र शुक्ल के अनुसार जायसी में शुद्ध भावनात्मक रहस्यवाद मिलता है और कबीर में चिंतनात्मक।
आचार्य श्यामसुंदर दास के अनुसार कबीर हिंदी के आदि रहस्यवादी कवि हैं और इनमें शुद्ध भावनात्मक रहस्यवाद की सुंदर सृष्टि हुई है।
जायसी के लिए रहस्यात्मकता कबीर की भाँति साध्य है।
जायसी के लिए रहस्यात्मकता कबीर की भाँति साध्य नहीं है।
कबीर ने अपने प्रियतम का साक्षात्कार केवल अंतःस्थल में किया है। बाह्य जगत् इनके लिए मिथ्या और माया का प्रतीक है।
45. “प्रभुजी तुम चंदन हम पानी, जाकी अंग-अंग बास समानी।” चर्चित पद के रचयिता हैं-
कबीर
रैदास
उपरोक्त चर्चित पद के रचयिता रैदास हैं।
तुलसीदास
सूरदास
46. कवि बोधा ने ‘बोधा’ के अतिरिक्त किस नाम से रचना की?
चतुरसेन
बुद्धसेन
बुद्धिसेन
कवि बोधा ने ‘बोधा’ के अतिरिक्त ‘बुद्धिसेन’ नाम से भी रचना की है।
बुधसेन
47. भूषण को किस राजा ने ‘कविभूषण’ की उपाधि दी थी?
मुहम्मदसाह रंगिले ने
राजा रुद्र ने
भूषण को राजा रुद्र ने ‘कविभूषण’ की उपाधि दी थी।
अकबर ने
औरंगजेब ने
48. “झलकै अति सुन्दर आनन गौर छके दृग राजत काननि छूवै।” किसकी पंक्ति है?
बिहारी
घनानन्द
उपरोक्त पंक्ति घनानन्द की है।
केशवदास
विद्यापति
49. “महामीचु दासी सदा पाईं धोवै। प्रतीहार है कै कृपा सूर जोवै।” में उक्त कथन कौन-किससे कहता है?
रावण अंगद को कहता है
उक्त कथन रावण अंगद को कहता है।
हनुमान रावण को कहते हैं
सुग्रीव रावण को कहता है
अंगद रावण को कहता है
50. “उड़ी जाउ कित हूँ, तऊ गुड़ी उड़ाइक हाथ।” उक्त पंक्ति में ‘गुड़ी’ शब्द का क्या अभिप्राय है?
पतंग
उक्त पंक्ति में ‘गुड़ी’ शब्द का अभिप्राय ‘पतंग’ है।
तितली
भैँवरा
कोयल
51. ‘कहानी नयी कहानी’ पुस्तक में नामवर सिंह ने नयी कहानी की पहली कृति किसे माना है?
तीसरी कसम
परिंदे
नामवर सिंह ने नयी कहानी की पहली कृति ‘परिंदे’ (निर्मल वर्मा) को माना है।
वापसी
खोई हुई दिशाएँ
52. निम्नलिखित में से किसके बचपन का नाम आनंदीलाल था?
अज्ञेय
रेणु
यशपाल
जैनेंद्र
जैनेंद्र के बचपन का नाम आनंदीलाल था।
53. ‘चंद्रगुप्त’ नाटक में यह गीत किस पात्र के द्वारा गाया जाता है?
‘अरुण यह मधुमय देश हमारा।
जहाँ पहुँच अनजान क्षितिज को मिलता एक सहारा।’
अलका
मालविका
कार्नेलिया
‘चंद्रगुप्त’ नाटक का उपरोक्त गीत कार्नेलिया द्वारा गया गया है।
कल्याणी
54. निम्नलिखित में से कौन-सा नाटक कालिदास कृत ‘कुमार संभव’ पर आधारित है?
आठवाँ सर्ग
सुरेंद्र वर्मा का नाटक ‘आठवाँ सर्ग’ कालिदास कृत ‘कुमार संभव’ पर आधारित है। उद्दाम श्रृंगार के बहाने इस नाट्य-कृति में कला-क्षेत्र में शीलता-अश्लीलता और सेंसरशिप बनाम अभिव्यक्ति-स्वातन्त्र्य जैसे तीखे विषय लिये गये हैं।
अंधा युग
लहरों के राजहंस
शकुंतला की अंगूठी
55. लेखक और उसके द्वारा लिखित यात्रा-वृत्तांत की दृष्टि से कौन-सा युग्म सुमेलित नहीं है?
अज्ञेय – एक बूँद सहसा उछली
दिनकर – देश-विदेश
रामवृक्ष बेनीपुरी – सागर की लहरों पर
‘सागर की लहरों पर’ के लेखक डॉ. भगवतशरण उपाध्याय हैं।
अमृता प्रीतम – इक्कीस पत्तियों का गुलाब
56. यह कथन किस कृति का है?
“दुःख दग्ध जगत् और आनंद पूर्ण स्वर्ग, दोनों के एकीकरण का यत्न ही साहित्य है।”
एक साहित्यिक की डायरी है
अकेला मेला
यह कथन ‘अकेला मेला’ (रमेशचन्द्र शाह) कृति का है।
अरे यायावर रहेगा याद
पथ के साथी
57. बालकृष्णशर्मा ‘नवीन’ का पहला कविता संग्रह कौन-सा है?
उर्मिला
अपलक
कुमकुम
बालकृष्णशर्मा ‘नवीन’ का पहला कविता संग्रह कुमकुम (1936) है।
रश्मिरेखा
58. ‘अतिथि! तुम कब जाओगे’ किसकी प्रसिद्ध व्यंग्य कृति है?
हरिशंकर परसाई
ज्ञान चतुर्वेदी
श्रीलाल शुक्ल
शरद जोशी
‘अतिथि! तुम कब जाओगे’ शरद जोशी की प्रसिद्ध व्यंग्य कृति है।
59. ‘मिला तेज़ से तेज़’ किसकी जीवनी है?
स्मेशचंद्र शाह
माखनलाल चतुर्वेदी
सुभद्रा कुमारी चौहान
‘मिला तेज़ से तेज़’ सुभद्रा कुमारी चौहान की जीवनी है।
भवानी प्रसाद मिश्र
60. कौन-सा युग्म असत्य है?
प्रेमचंद सृजन पीठ – उज्जैन
मुक्तिबोध सृजन पीठ – ग्वालियर
मुक्तिबोध सृजन पीठ ‘सागर’ में स्थापित है।
निराला सृजन पीठ – भोपाल
मध्यप्रदेश हिंदी ग्रंथ अकादमी – भोपाल
61. लोकगीत को ‘आर्येतर सभ्यता की वेदश्रुति’ किसने माना है?
हजारी प्रसाद द्विवेदी
लोकगीत को ‘आर्येतर सभ्यता की वेदश्रुति’ हजारी प्रसाद द्विवेदी ने माना है।
आचार्य रामचंद्र शुक्ल
महावीर प्रसाद द्विवेदी
डॉ. नगेन्द्र
62. लोक साहित्य में ‘पँवाड़ा’ शब्द निम्न में से किस विधा के लिए प्रयुक्त होता है?
लोक-कहावत
लोक-मुहावरा
लोक-गाथा
लोक साहित्य में ‘पँवाड़ा’ शब्द ‘लोक-गाथा’ विधा के लिए प्रयुक्त होता है।
लोक-गीत
63. बुंदेली साहित्य में ‘नौरता’ निम्न में से किस प्रकार का लोकगीत है?
ऋतु गीत
त्यौहार गीत
बुंदेली साहित्य में ‘नौरता’ एक ‘त्यौहार’ लोकगीत है।
श्रम गीत हि
यात्रा गीत
64. निम्नलिखित लोकनाट्य को उनसे संबंधित क्षेत्र से सुमेलित कीजिए।
“पद्माकर की भाषा में बुंदेलखंडी रंग और मैदानी नदी का प्रवाह है।”
नगेन्द्र
रामचंद्र शुक्ल
रामविलास शर्मा
बच्चन सिंह
उपरोक्त कथन बच्चन सिंह का है।
102. मिश्रबन्धुओं के अनुसार ‘बिहारी सतसई’ में दोहों की कुल संख्या कितनी हैं?
715
700
मिश्रबन्धुओं के अनुसार ‘बिहारी सतसई’ में दोहों की कुल संख्या 700 है। जगन्नाथ दास रत्नाकर ने बिहारी के 713 दोहे को प्रमाणिक मानते हैं।
725
710
103. यहाँ ‘उरबसी’ में कौन-सा अलंकार है?
“तो पर वारौं उरवसी, सुनु राधिके सुजान।
तू मोहन के उर बसी, ह्वै उरबसी-समान॥”
श्लेष
उपमा
रूपक
यमक
यहाँ पर ‘उरबसी’ में यमक अलंकार है।
104. बिहारी के पिता केशवराय के गुरु कौन थे?
नरहरिदास
बिहारी के पिता केशवराय के गुरु ‘नरहरिदास’ थे।
सुखदेव मिश्र
गंगाधर दीक्षित
कृष्णभट्ट देव
105. उक्त कथन आचार्य रामचंद्र शुक्ल ने इनमें से किस कवि के लिए कहा?
“प्रेम मार्ग का ऐसा प्रवीण और धीर पथिक तथा जवाँदानी का ऐसा दावा रखने वाला ब्रजभाषा का दूसरा कवि नहीं हुआ।”
पद्माकर
आलम
देव
घनानन्द
उक्त कथन आचार्य रामचंद्र शुक्ल ने रीतिकालीन कवि ‘घनानन्द’ के लिए कहा है।
106. ‘कवियों की उर्मिला विषयक उदासीनता’ शीर्षक सरस्वती में प्रकाशित लेख महावीर प्रसाद द्विवेदी ने किस नाम से लिखा था?
भुजंगभूषण भट्टाचार्य
‘कवियों की उर्मिला विषयक उदासीनता’ शीर्षक सरस्वती में प्रकाशित लेख महावीर प्रसाद द्विवेदी ने ‘भुजंगभूषण भट्टाचार्य’ नाम से लिखा था।
भारतभूषण भटूटाचार्य
मधुसूदन भट्टाचार्य
भानुभूषण भटूटाचार्य
107. कामायनी की श्रद्धा और इड़ा के संदर्भ में यह विचार किसका है?
“श्रद्धा और इड़ा औरतानी औरतों का प्रतिनिधित्व नहीं करती। श्रद्धा औरतानी औरत के कुछ समीप है, न इड़ा तो बिल्कुल नहीं।”
मुक्तिबोध
दिनकर
कामायनी की श्रद्धा और इड़ा के संदर्भ में यह विचार रामधारी सिंह ‘दिनकर’ का है।
नामवर सिंह
नगेन्द्र
108. “निराला हिंदी साहित्य में नए मानवतावाद के प्रतिष्ठापक हैं।” यह कथन किसका है?
रामविलास शर्मा
यह कथन ‘रामविलास शर्मा’ का है।
दूधनाथ सिंह
नंदकिशोर नवल
बचचन सिंह
109. निम्नलिखित में से दिनकर की कौन-सी कविता ‘परशुराम की प्रतीक्षा’ काव्य-संग्रह में संकलित नहीं है?
आपद्वर्म
विपथगा
दिनकर की ‘विपथगा’ कविता उनके ‘हुंकार’ काव्य संग्रह में संकलित है।
समर शेष है
अहिंसावादी का युद्ध-गीत
110. ‘असाध्य वीणा’ जिस जापानी कथा पर आधारित मानी जाती है, उस कथा का क्या नाम है?
दि बुक ऑफ टी
दि बुक ऑफ ट्री
गेमिंग ऑफ दि हार्प
टेमिंग ऑफ दि हार्प
‘असाध्य वीणा’ जिस जापानी कथा पर आधारित मानी जाती है, उस कथा का नाम ‘टेमिंग ऑफ दि हार्प’ है।
निम्नलिखित को सुमेलित कीजिए।
(a) केन्द्रीय हिंदी संस्थान की स्थापना – (i) 1967
(b) केन्द्रीय हिंदी समिति का गठन – (ii) 1985
(c) केन्द्रीय अनुवाद ब्यूरो का गठन – (iii) 1961
(d) केन्द्रीय हिंदी प्रशिक्षण संस्थान का गठन – (iv) 1971
कूट:(a), (b), (c), (d)
(iii), (i), (iv), (ii)
केन्द्रीय हिंदी संस्थान की स्थापना- 1961, केन्द्रीय हिंदी समिति का गठन- 1967, केन्द्रीय अनुवाद ब्यूरो का गठन- 1971, केन्द्रीय हिंदी प्रशिक्षण संस्थान का गठन- 1985
(i), (iv), (ii), (iii)
(ii), (iii), (i), (iv)
(iv), (ii), (iii), (i)
112. हिंदी कम्प्यूटिंग के सन्दर्भ में ‘मंगल’ क्या है?
यूनीकोड कन्वर्टर
यूनीकोड फॉण्ट
हिंदी कम्प्यूटिंग के सन्दर्भ में ‘मंगल’ यूनीकोड फॉण्ट है।
हिंदी अनुवाद टूल
उपर्युक्त सभी
113. वैज्ञानिक तथा तकनीकी शब्दावली आयोग की स्थापना कब हुई?
1962
1961
वैज्ञानिक तथा तकनीकी शब्दावली आयोग की स्थापना 1961 ई. में हुई थी।
1975
1976
114. वेबसाइट ‘डब्ल्यु डब्ल्यु डब्ल्यु डॉट हिंदीसमय डॉट कॉम’ किस संस्था से सम्बन्धित है?
महात्मा गांधी अंतर्राष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय, वर्धा
https://www.hindisamay.com/ महात्मा गांधी अंतर्राष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय, वर्धा की वेबसाइट है।
जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय, नई दिल्ली
दिल्ली विश्वविद्यालय, दिल्ली
महात्मा गांधी चित्रकूट ग्रामोदय विश्वविद्यालय, चित्रकूट, म. प्र.
115. संविधान में हिंदी को राजभाषा बनाने का प्रस्ताव किस अहिंदी भाषी ने रखा?
कन्हैयालाल माणिकलाल मुंशी और गोपालस्वामी अयंगार
संविधान में हिंदी को राजभाषा बनाने का प्रस्ताव अहिंदी भाषी ‘कन्हैयालाल माणिकलाल मुंशी और गोपालस्वामी अयंगार’ ने रखा।
बाल गंगाधर तिलक और महात्मा गांधी
नगेन्द्रनाथ बसु और केशवचंद्र सेन
शारदाचरण मित्र और रामानन्द चटर्जी
116. पंत की काव्य-कृतियों का प्रकाशन की दृष्टि से सही क्रम कौन-सा है?
117. कवि और उसकी कृति की दृष्टि से कौन-सा युग्म सुमेलित नहीं है?
माखनलाल चतुर्वेदी – हिम किरीटिनी
बाल कृष्ण शर्मा ‘नवीन’ – उर्मिला
नरेन्द्र शर्मा – प्रवासी के गीत
सुभद्रा कुमारी चौहान – अपराजिता
अपराजिता रामेश्वर शुक्ल ‘अंचल’ की रचना है।
118. प्रगतिवाद के संदर्भ में कौन-सा कथन सही नहीं है?
प्रगतिवाद साहित्य को सोद्देश्य मानता है।
मार्क्सवादी चिन्तकों ने सैद्धान्तिक स्तर पर साहित्य में प्रचार का समर्थन किया है।
मार्क्सवादी चिन्तकों ने सैद्धान्तिक स्तर पर साहित्य में प्रचार का समर्थन नहीं किया है।
प्रगतिवादी साहित्य का बड़ा हिस्सा प्रचार बनकर रह गया।
प्रगतिवाद ने सौन्दर्य को नए दृष्टिकोण से देखा।
119. ‘तारसप्तक’ की भूमिका के आधार पर ‘तारसप्तक’ में शामिल कवियों के संदर्भ में कौन-सा कथन सही नहीं है?
योजना का मूल आधार सहयोग था।
कविता को प्रयोग का विषय मानते थे।
उनका दावा था कि काव्य का सत्य उन्होंने पा लिया है।
तार सप्तक के कवियों ने कभी भी यह दावा नहीं किया।
वे अपने को उन्वेषी मानते थे।
120. कवि और उसकी काव्य कृति की दृष्टि से कौन-सा युग्म सुमेलित नहीं है?
कुँवर नारायण – कोई दूसरा नहीं
धर्मवीर भारती – कनुप्रिया
रघुवीर सहाय – सीढ़ियों पर धूप में
दुष्यंत कुमार – पहले मैं सन्नाटा बुनता हूँ
‘पहले मैं सन्नाटा बुनता हूँ’ अज्ञेय की कविता है।
121. रीतिकाल का चित्रण करती उपरोक्त पंक्ति किस कवि की है?
“सेज हैं सुराही हैं, सुरा हैं और प्याला हैं।”
बिहारी
मतिराम
पद्माकर
रीतिकाल का चित्रण करती उपरोक्त पंक्ति कवि ‘पद्माकर’ की है।
भिखारीदास
122. रीतिकाल को मिश्रबंधुओं ने ‘अलंकृत काल’ की संज्ञा दी, यहाँ ‘अलंकृत’ अंग्रेजी के किस शब्द के अर्थ में प्रयोग हुआ है?
आर्नामेंट
आर्नेंट
रीतिकाल को मिश्रबंधुओं ने ‘अलंकृत काल’ की संज्ञा दी, यहाँ ‘अलंकृत’ अंग्रेजी के ‘आर्नेंट’ शब्द के अर्थ में प्रयोग हुआ है।
आर्नामेंटल
ब्यूटी
123. रीतिकालीन रचना ‘करुणाभरण’ की विधा क्या है?
जीवनी
नाटक
रीतिकालीन रचना ‘करुणाभरण’ (लछिराम) की विधा नाटक (ब्रजभाषा) है।
आत्मकथा
कहानी
124. ‘सेनापति’ के गुरु का क्या नाम था?
नागेश भट्ट
गंगाधर दीक्षित
नाभादास
हीरामणि दीक्षित
‘सेनापति’ के गुरु का नाम ‘हीरामणि दीक्षित’ था।
125. निम्नलिखित में से कौन चिंतामणि के भाई नहीं थे?
कृपाशंकर
भूषण, मतिराम और जटाशंकर चिंतामणि के भाई थे
भूषण
मतिराम
जटाशंकर
126. उक्त कथन किसका है?
“महान रचनाकार निर्वैक्तिक होता है। कविता भाव की उन्मुक्त अभिव्यक्ति नहीं है, वह भाव से मुक्ति है। वह व्यक्तित्व की अभिव्यक्ति नहीं, व्यक्तित्व से मुक्ति है किंतु निश्चय ही जिनमें व्यक्तित्व और भाव हैं, वे ही यह जान सकते हैं कि उनसे मुक्ति की आकांक्षा का अर्थ क्या होता है।”
अस्स्तू
लोंजाइनस
टी.एस. इलियट
उक्त कथन ‘टी.एस. इलियट’ का है।
कॉलरिज
127. अस्स्तू की काव्यशास्त्र संबंधी कृति है-
वसीयतनामा
पेरि पोइतिकेस
अस्स्तू की काव्यशास्त्र संबंधी कृति ‘पेरि पोइतिकेस’ है।
तेखनेस रितोरिकेस
उपरोक्त में से कोई नहीं
128. ‘विशिष्ट पद रचना रीतिः’ सूत्र किस आचार्य का है?
वामन
‘विशिष्ट पद रचना रीतिः’ सूत्र आचार्य ‘वामन’ का है।
दण्डी
राजशेखर
मम्मट
129. औचित्य को काव्यात्मभूत काव्य सिद्धांत के रूप में प्रतिष्ठित करने वाले आचार्य हैं-
कुंतक
भामह
क्षेमेन्द्र
औचित्य को काव्यात्मभूत काव्य सिद्धांत के रूप में प्रतिष्ठित करने वाले आचार्य क्षेमेन्द्र हैं।
विश्वनाथ
130. भरतमुनि के अनुसार ‘वीभत्स रस’ का स्थायी भाव है-
भय
जुगुप्सा
भरतमुनि के अनुसार ‘वीभत्स रस’ का स्थायी भाव ‘जुगुप्सा’ है।
विस्मय
उत्साह
131. यह कथन किस विद्वान का है?
“निराशावाद के भीतर आशावाद का संदेश देना-संसार की क्षणिकता में उसके वैचित्य का इन्द्रधनुषी चित्र खींचना इन सिद्धों की कविता का गुण था।”
पं. हजारी प्रसाद द्विवेदी
डॉ. रामकुमार वर्मा
यह कथन ‘डॉ. रामकुमार वर्मा’ का है।
डॉ. गणपति चंद्र गुप्त
डॉ. नगेन्द्र
132. ‘ललित विग्रह राज’ नामक नाटक के रचनाकार कौन हैं?
सोमदेव
‘ललित विग्रह राज’ नामक नाटक के रचनाकार ‘सोमदेव’ हैं।
बसन्तपाल
विग्रह राज
गोविन्द चंद्र
133. भक्तिकाल को हिंदी साहित्य का स्वर्णयुग मानने वाले प्रथम विद्वान कौन हैं?
ग्रियर्सन
भक्तिकाल को हिंदी साहित्य का स्वर्णयुग मानने वाले प्रथम विद्वान ‘जार्ज ग्रियर्सन’ हैं।
आ. रामचंद्र शुक्ल
पं. हजारी प्रसाद द्विवेदी
डॉ. नगेन्द्र
134. यह कथन किस आलोचक का है?
‘स्वयंभू का रामायण’ हिंदी का सबसे पुराना और सबसे उत्तम काव्य है।’
आ. रामचंद्र शुक्ल
रामकुमार वर्मा
आचार्य हजारी प्रसाद द्विवेदी
यह कथन ‘आचार्य हजारी प्रसाद द्विवेदी’ का है।
डॉ. नगेन्द्र
135. मुनि जिन विजय ने हिंदी जैन रास परम्परा का आदिग्रन्थ किसे माना है?
भरतेश्वर बाहुबलि रास
मुनि जिन विजय ने हिंदी जैन रास परम्परा का आदिग्रन्थ ‘भरतेश्वर बाहुबलि रास’ को माना है।
उपदेश रसायन रास
श्रावकाचार
रेवन्तगिरिरास
136. संविधान के किस अनुच्छेद में उच्चतम न्यायालय और उच्च न्यायालयों की भाषा का वर्णन है?
345
346
347
348
संविधान के अनुच्छेद 348 में उच्चतम न्यायालय और उच्च न्यायालयों की भाषा का वर्णन है।
137. यह कथन किसका है?
“मैं हिंदी के प्रचार, राष्ट्रभाषा के प्रचार को राष्ट्रीयता का मुख्य अंग मानता हूँ।”
डॉ. राजेन्द्र प्रसाद
यह कथन ‘डॉ. राजेन्द्र प्रसाद’ का है।
पुरुषोत्तमदास टंडन
लाला लाजपत राय
सी. राजगोपालाचारी
138. राजभाषा अधिनियम, 1976 के अनुसार ‘ख’ वर्ग में आने वाला राज्य है-
हरियाणा
पंजाब
राजभाषा अधिनियम, 1976 के अनुसार ‘ख’ वर्ग में आने वाला राज्य ‘पंजाब’ है।
राजस्थान
दिल्ली
139. कौन-सा परसर्ग मानक हिंदी को पुरानी हिंदी और उर्दू दोनों से पृथक करता है?
ने
‘ने’ परसर्ग मानक हिंदी को पुरानी हिंदी और उर्दू दोनों से पृथक करता है।
में
के
उपर्युक्त सभी
140. ‘एकलिपि विस्तार परिषद’ की स्थापना कब हुई?
1902
1903
1904
1905
‘एकलिपि विस्तार परिषद’ की स्थापना 1905 ई. में हुई थी।
141. निम्नलिखित में से किसकी प्रेरणा से स्वामी दयानंद ने हिंदी में व्याख्यान देना शुरू किया?
महर्षि देवेन्द्रनाथ
केशवचंद्र सेन
‘केशवचंद्र सेन’ की प्रेरणा से स्वामी दयानंद ने हिंदी में व्याख्यान देना शुरू किया था।
ईश्वस्चंद्र विद्यासागर
नवीनचंद्र राय
142. हिंदी के प्रचार प्रसार हेतु नागरी प्रचारिणी सभा, काशी की स्थापना कब हुई?
14 सितंबर 1949
24 जनवरी 1877
26 जनवरी 1865
10 मार्च 1883
हिंदी के प्रचार प्रसार हेतु नागरी प्रचारिणी सभा, काशी की स्थापना 10 मार्च 1883 ई. में हुई।
143. नागरी वर्णमाला को मुख्यतः कितने वर्गों में विभक्त किया गया है?
5
26
52
2
नागरी वर्णमाला को मुख्यतः 2 वर्गों में विभक्त किया गया है।
144. निम्नलिखित में से देवनागरी लिपि के नामकरण में ‘लोकनागरी’ नाम किसने दिया था?
डॉ. हजारी प्रसाद द्विवेदी
धीरेन्द्र वर्मा
आचार्य रामचंद्र शुक्ल
आचार्य विनोबा भावे
देवनागरी लिपि के नामकरण में ‘आचार्य विनोबा भावे’ ने ‘लोकनागरी’ नाम दिया था।
145. देवनागरी लिपि मूलतः क्या है?
वर्णनात्मक
अक्षरात्मक
देवनागरी लिपि मूलतः ‘अक्षरात्मक’ है।
चित्रात्मक
प्रतीकात्मक
146. आचार्य रामचंद्र शुक्ल परिमार्जित गद्य की प्रथम पुस्तक किसे मानते हैं?
नासिकेतोपाख्यान
सुखसागर
प्रेमसागर
भाषायोग वशिष्ठ
आचार्य रामचंद्र शुक्ल परिमार्जित गद्य की प्रथम पुस्तक भाषायोग वशिष्ठ को मानते हैं।
147. ‘हिंदी नई चाल में ढली, सन् 1873 ई.।’ उक्त कथन भारतेन्दु हरिश्चन्द्र ने किसमें कहा?
कालचक्र
उक्त कथन भारतेन्दु हरिश्चन्द्र ने कालचक्र निबंध में कहा है।
कवि वचन सुधा
हरिश्चन्द्र चंद्रिका
बाला बोधिनी
148. सरदार पूर्ण सिंह ने कुल कितने निबंध लिखे?
10
9
8
सरदार पूर्ण सिंह ने कुल 8 निबंध लिखे हैं।
6
149. ‘उपन्यास’ नाम से मासिक पत्र कौन निकालता था?
किशोरीलाल गोस्वामी
‘उपन्यास’ नाम से मासिक पत्र ‘किशोरीलाल गोस्वामी’ निकालते थे।
राधाचरण गोस्वामी
श्रीनिवास दास
बदरीनारायण चौधरी ‘प्रेमधन’
150. कुबेरनाथ राय के निबंध संग्रह ‘प्रिया नीलकंठी’ का प्रकाशन वर्ष है-
1970
1967
1968
कुबेरनाथ राय के निबंध संग्रह ‘प्रिया नीलकंठी’ का प्रकाशन वर्ष 1968 है।
1969
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